Electronics Gk - Electronics Gk In Hindi - Electrical GK Questions
इलेक्ट्रॉनिक से संबंधित सभी महत्वपूर्ण जानकारियाँ और समान्य ज्ञान के सवाल, जो सभी तरह के प्रतियोगिता परीक्षा की तैयारी के लिए पढ़ना जरूरी है।
इलेक्ट्रॉनिक सामान्य ज्ञान | इलेक्ट्रॉनिक जीके प्रश्नोत्तरी | Electronics Questions
31. MAT टाइप लैम्प में विशेष स्विच लगता है, उसका नाम है ?
(A) थर्मल स्विच
(B) सिंगल वे स्विच
(C) टु-वे स्विच
(D) उपयुक्त सभी
Solution:
MAT टाइप लैम्प में लगने वाले विशेष स्विच को **टच स्विच** कहते हैं। यह स्विच लैम्प के मेटल बेस से जुड़ा होता है और इसमें कोई यांत्रिक बटन नहीं होता है। स्पर्श संवेदनशीलता का उपयोग करके, यह स्विच हल्के स्पर्श से लैम्प को चालू और बंद कर सकता है। यह स्विच सुरक्षित, सुविधाजनक और स्टाइलिश है, जिससे MAT टाइप लैम्प को ऑपरेट करना आसान हो जाता है।
32. किस मोटर में आघूर्ण में समान वृद्धि पर आर्मेचर धारा में न्यूनतम वृद्धि होती है ?
(A) श्रेणी मोटर
(B) शंट मोटर
(C) संचयी कम्पाउंड मोटर
(D) उपर्युक्त सभी
Solution:
शंट मोटर में आघूर्ण में समान वृद्धि पर आर्मेचर धारा में न्यूनतम वृद्धि होती है। ऐसा इसलिए है क्योंकि शंट मोटर में आर्मेचर और फील्ड कुंडली समांतर में जुड़े होते हैं। इसलिए, आघूर्ण में वृद्धि मुख्य रूप से फील्ड करंट में वृद्धि के कारण होती है, जिससे आर्मेचर करंट में केवल मामूली वृद्धि होती है।
33. एक 3 phase समान रूप से वितरित एवं शार्ट-पिच वाइन्डिंग का डिस्ट्रिब्यूशन फैक्टर होता है ?
(A) 0.955
(B) 0.9
(C) 0.965
(D) 0.97
Solution:
A 3-phase equally distributed and short-pitch winding has a distribution factor because:
* **Equal Distribution:** Coils are evenly spaced around the stator, contributing equally to the rotating magnetic field.
* **Short Pitch:** Coils span less than a pole pitch, reducing the overlap and cancellation of fluxes.
* **Result:** The distribution of fluxes from individual coils adds constructively, resulting in a more concentrated magnetic field and reduced harmonic content, leading to a higher fundamental component of the voltage induced.
34. नियोन प्रतीकों में हीलियम का प्रयोग किस रंग का प्रकाश प्राप्त करने के लिए किया जाता है ?
(A) नीला
(B) हरा
(C) लाल
(D) पीला
Solution:
नियोन प्रतीकों में हीलियम का उपयोग लाल-नारंगी रंग का प्रकाश प्राप्त करने के लिए किया जाता है। जब उच्च वोल्टेज वाली बिजली हीलियम गैस से भरे ट्यूब से गुजरती है, तो गैस के परमाणु उत्तेजित हो जाते हैं और प्रकाश का उत्सर्जन करते हैं। हीलियम परमाणुओं की विशिष्ट ऊर्जा स्तर संरचना उन्हें 656.3 नैनोमीटर की तरंग दैर्ध्य पर लाल-नारंगी रोशनी का उत्सर्जन करने का कारण बनती है।
35. तुल्यकाली मोटर में किस हानि में भार के साथ परिवर्तन नहीं होते ?
(A) ताम्र हानियाँ
(B) हिस्टेरेसिस हानियाँ
(C) वायु घर्षण हानियाँ
(D) ये सभी
Solution:
तुल्यकालिक मोटर में कोर हानियाँ (हिस्टैरिसीस और एडी करंट हानियाँ) भार के साथ नहीं बदलती हैं। ये हानियाँ चुंबकीय क्षेत्र बनाने के लिए आवश्यक कोर के चुंबकीय धर्मों की विशेषता होती हैं और मोटर पर भार की परवाह किए बिना स्थिर रहती हैं। इसलिए, कोर हानियाँ तुल्यकालिक मोटर में एक स्थिर घटक हैं।
36. भट्टी के ताप के आटोमैटिक कण्ट्रोल के लिए आवश्यक है ?
(A) परिवर्ती प्रतिरोध के हीटिंघ एलीमैन्ट
(B) थर्मोस्टेट
(C) आटो ट्रांसफार्मर
(D) थर्मोकपल
Solution:
भट्टी के ताप के स्वचालित नियंत्रण के लिए निम्न घटकों की आवश्यकता होती है:
* **तापमान संवेदक:** भट्टी के तापमान को मापता है।
* **तापमान नियंत्रक:** संवेदक से तापमान प्राप्त करता है और इसे वांछित तापमान से तुलना करता है।
* **एक्चुएटर:** नियंत्रक से सिग्नल प्राप्त करता है और भट्टी में ईंधन या वायु प्रवाह को समायोजित करता है।
* **फ़ीडबैक लूप:** नियंत्रक को तापमान में परिवर्तन के बारे में जानकारी प्रदान करता है, जिससे वह सुधार कर सकता है और वांछित तापमान बनाए रख सकता है।
37. विद्युत-तापक में प्रयुक्त ऊ मारोधी अचालक है ?
(A) अभ्रक
(B) चीनी मिट्टी
(C) ग्लास-वूल
(D) एस्बस्टस
Solution:
विद्युत तापकों (हीटर) में प्रयुक्त ऊष्मारोधी अचालक एक सामग्री है जो बिजली के प्रवाह को प्रतिबंधित करती है और ऊष्मा को स्थानांतरित नहीं करती है। यह तापक तत्व को आसपास के वातावरण से विद्युत रूप से अलग करता है, जिससे शॉर्ट सर्किट और बिजली के झटके का खतरा कम होता है। आमतौर पर इस्तेमाल की जाने वाली ऊष्मारोधी अचालक सामग्री में सिरेमिक, सिलिका और माइका शामिल हैं।
38. निम्न में वह युक्ति जो ए. सी. को डी. सी. में परिवर्तित नहीं कर सकती ?
(A) मोटर-जनरेटर
(B) एम्प्लीफायर
(C) मर्करी आर्क दिष्टकारी
(D) मोटर कन्वर्टर
Solution:
**ट्रांसफॉर्मर** एसी से डीसी में परिवर्तन नहीं कर सकता है, क्योंकि इसमें आयरन कोर और कॉपर वाइंडिंग होती है। यह केवल एसी वोल्टेज के स्तर को ऊपर या नीचे परिवर्तित कर सकता है, लेकिन यह एसी और डीसी के बीच रूपांतरण नहीं कर सकता है। एसी से डीसी रूपांतरण के लिए एक **रेक्टिफायर** की आवश्यकता होती है, जो एक इलेक्ट्रॉनिक उपकरण होता है जो एक दिशा में विद्युत प्रवाह की अनुमति देता है।
39. ए. सी. को डी. सी. में बदलने के प्रमुख साधन है ?
(A) रोटरी कन्वर्टर
(B) सिलिकॉन डायोड
(C) मर्करी ऑर्क रेक्टीफायर
(D) उपर्युक्त सभी
Solution:
एसी को डीसी में बदलने के दो प्रमुख साधन हैं:
**1. डायोड रेक्टिफायर:** यह एक-तरफ़ा वाल्व की तरह काम करता है, जो केवल एक दिशा में विद्युत प्रवाह की अनुमति देता है। यह एसी सिग्नल की एक आधी लहर को डीसी सिग्नल में बदल देता है।
**2. फुल-वेव रेक्टिफायर:** यह दो डायोड का उपयोग करता है, जो एसी सिग्नल की दोनों आधी लहरों को डीसी सिग्नल में परिवर्तित करता है। यह एक अधिक स्थिर और कुशल डीसी आउटपुट प्रदान करता है।
40. निम्न में से किस डिवाइस में विद्युत के उष्मीय प्रभाव का उपयोग होता है ?
(A) ट्रांसफॉर्मर
(B) जनरेटर
(C) विद्युत् मोटर
(D) विद्युत् भट्टी
Solution:
विद्युत के उष्मीय प्रभाव का उपयोग करने वाले डिवाइस में **इलेक्ट्रिकल हीटर** शामिल हैं। हीटर एक प्रतिरोध प्रदान करते हैं जहां से विद्युत धारा प्रवाहित होती है। प्रतिरोध हीटर के तारों में ऊर्जा को गर्मी में परिवर्तित कर देता है, जिससे आसपास के क्षेत्र को गर्म किया जाता है। घरों, कार्यालयों और अन्य स्थानों में ताप प्रदान करने के लिए इलेक्ट्रिकल हीटर का व्यापक रूप से उपयोग किया जाता है।